Friday, June 13, 2014

दिल मजबुर हो रहा है तुमसे बात करने को

दिल मजबुर हो रहा है तुमसे बात करने को
पर जिद ये है की गुफ़्तगु का आगाज़ तुम करो


Guftugu ka Aagaj main ker to dun per dar ye hai
Ke tum kahin galat na samjh baitho

No comments:

Post a Comment